उझानी,(बदायूं)। गुरूवार की सुबह से ही बिगड़े मौसम के मिजाज ने ऐसी करवट ली और कारे बदरा की ऐसी घटा छाई कि भरी दोपहर दिनन में रात हो गई। भरी दोपहर अचानक हुए घनघोर अंधेरे के चलते पूरा नगर बिजली से जगमग हो उठा वही सड़कों पर वाहन चालकों को बिना लाइट दिखना बंद हो गया। दोपहर में अंधेरा देख नागरिक बोले- कि उन्होंने मौसम का ऐसा नजारा पहली बार देखा है। नागरिकों ने कहा कि सावन-भादो की बरसात में भी ऐसा अंधेरा कभी नही देखा गया।
आज सुबह से ही मौसम के बिगड़े मिजाज से तेज सर्द हवाएं चलने लगी जिससे नागरिकों का ठंड से हाल बेहाल हो गया और वह चल रही तेज हवाओं के साथ ठंड से बचने के प्रयास में लग गए। दोपहर लगभग पौने दो बजे अचानक मौसम ने ऐसी पलटी मारी कि कारे बदरा की घटा छा गई और पूरा क्षेत्र घोर अंधकार में डूब गया और दिन में रात का अहसास होने लगा। अंधेरा होने के कारण नागरिकों को अपने घरों की बिजली जलानी पड़ी तब कही जाकर लोगों को दिखना शुरू हुआ। सड़कों तथा हाइवे पर वाहन चालकों को बगैर लाइट के दिखना बंद हो गया। अंधकार वाला मौसम लगभग आधा घंटा बना रहा और बाद में चली तेज हवाओं से अंधेरा छटा तब नागरिकों ने राहत की सांस ली। अचानक हुए अंधकार वाले मौसम पर नागरिकों को हैरत में डाल दिया। अनेक नागरिक बोले कि उन्होंने ऐसा मौसम पहली बार देखा है। समाजसेवी और बीमा अभिकर्ता अनुराग धींगड़ा अन्नू ने कहा कि पिछले 50 वर्षो में उन्होंने दोपहर में अंधेरे वाला मौसम पहली बार देखा है। राजेश वाष्र्णेय, राजू भूटानी, छवि, विवेक भण्डारी के अलावा युवा अधिवक्ता विश्वनाथ मौर्य, रचित सक्सेना, मु. कासिम, आशू मियां, गोविन्द मित्तल, गौरव माहेश्वरी, सौरभ मित्तल आदि ने बताया कि सावन-भादो जैसे बरसाती मौसम में भी दोपहर में इतना अंधेरा कभी नही देखा। अधिवक्ताओं ने बताया कि बदलती प्रकृति के नजारें अद्भुद हैं।